

राजपूत महासभा की सरकार से बड़ी मांग – प्रतियोगी परीक्षाओं में फीस समान हो
रजनीश शर्मा | हमीरपुर
प्रदेश और केंद्र सरकार सामान्य वर्ग के बच्चों के साथ किसी भी प्रतियोगी परीक्षा में भेदभाव न करके सभी प्रतियोगी परीक्षाओं की फीस में समानता लाएं और स्कूलों में प्रदेश सरकार जाति आधारित भेदभाव को नजरअंदाज करके समान रूप से बच्चों को किताबें,वर्दियां और छात्रवृति प्रदान करे। ताकि सामान्य वर्ग के बच्चों के साथ जहां न्याय होगा वहीं उनका मनोबल भी नहीं गिरेगा । सरकारों की ये असमानता की नीतियां ही जातिगत वैमनस्य पैदा करने के लिए जिम्मेदार हैं हिन्दू समाज पूरी तरह एकजुट होकर रह रहा है लेकिन यही सरकारी भेदभाव और असमानता की नीतियां समाज को बांट कर अंदर ही अंदर समाज में द्वेष भाव पैदा कर रही हैं।
इसके साथ ही राजपूत महासभा राज्य और केंद्र सरकारों से मांग करती है कि (EWS) आर्थिक आधार पर पिछड़े वर्ग के कोटे में भी प्रतियोगी परीक्षाओं में फीस सामान्य वर्ग जैसी ही भारी भरकम रखी जा रही है दूसरे आरक्षित वर्ग की तर्ज पर आयु सीमा में भी कोई छूट नहीं दी जाती है न ही इनकी अलग से मेरिट तय की जाती है जो सामान्य वर्ग के साथ 10 % आरक्षण के नाम पर धोखे के सिवाय कुछ नहीं है।

राजपूत महासभा हमीरपुर इन मुद्दों पर अति गंभीर है और चाहती है कि सरकारें समय रहते तुरंत इन मुद्दों पर हरकत में आएं ताकि समाज में एक वर्ग विशेष द्वारा महसूस की जा रही घुटन में कमी आए । और स्कूली बच्चों के साथ साथ समाज में भी एक सौहार्दपूर्ण और भाईचारे का माहौल बना रहे ।
इन सभी मामलों को लेकर सभा समय समय पर अपने जनप्रतिनिधियों के माध्यम से भी आने वाले समय में सरकार के समक्ष उठाती रहेगी । ये बयान राजपूत महासभा हमीरपुर के जिला अध्यक्ष अजमेर ठाकुर और महासचिव जोगिंदर ठाकुर ने संयुक्त रूप से जारी किया ।

Author: Polkhol News Himachal









